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Tuesday, September 8, 2009
मनै चाहिए राहुल का ई मेल और फैक्स
08 सितम्बर 2009
वार्ता
नई दिल्ली। हरियाणा में विधानसभा चुनाव की घोषणा के साथ ही एक नई लहर चल रही है और यह लहर है कांग्रेस की युवा शक्ति माने जा रहे राहुल गांधी का ई मेल और फैक्स नम्बर ढूंढने की।
विशेष रूप से युवा टिकटार्थी इस उम्मीद के साथ राहुल का ई मेल और फैक्स तलाश रहे हैं ताकि समय रहते उन्हें अपना बायोडाटा भेज सके और चुनाव के लिए टिकट हासिल कर सके।
हरियाणा के ये नेता युवाओं के प्रति श्री गांधी के झुकाव से उत्साहित हैं और किसी भी तरह उनसे संपर्क करना चाहते हैं लेकिन श्री गांधी से मुलाकात का समय न मिल पाने की आशंका के चलते ये नेता उन्हें अपना बायोडाटा भेजने के लिए किसी न किसी तरह उनका ई मेल, फैक्स या टेलीफोन नम्बर जुटाने में लगे हैं।
ये नेता किसी भी तरह श्री गांधी के निवास 12 तुगलक लेन या दस जनपथ पर अपनी पैठ बनाने की जुगत में भी लगे हैं। कुछ पढे लिखे नेता इंटरनेट की खाक छान रहे हैं जिससे कि उन्हें श्री गांधी के संपर्क सूत्रों के बारे में कुछ सुराग मिल सके।
ये नेता श्री गांधी के करीबी लोगों का भी पता लगा रहे हैं ताकि कांग्रेस महासचिव से रूबरू न होने की सूरत में कम से कम इन करीबी लोगों के जरिये अपना बायोडाटा तो सही जगह पर पहुंचाया जा सके।
श्री गांधी के हाल ही में एक सम्मेलन में दिये गये बयान ने इस लहर को और हवा दी है। उन्होंने कहा था कि लोकसभा चुनाव में युवाओं को मिली सफलता को देखते हुए विधानसभा चुनाव में टिकट बांटते समय युवा उम्मीदवारों को विशेष तरजीह दी जानी चाहिए ।
श्री गांधी ने कहा है कि जिन सीटों पर पार्टी की स्थिति अच्छी नहीं है और पार्टी इन सीटों को लगातार हारती आ रही है वहां युवा नेता को उम्मीदवार बनाया जा सकता है।
राहुल गांधी की तलाश की जुगत भिड़ा रहे ऎसे कई नेताओं का मानना है कि यदि उन्हें यह संपर्क सूत्र हासिल हो जाता है तो उन्हें कम से कम आधी सफलता तो मिल ही जायेगी। बाकी का काम तो जैसा वह अपने परिचय में देंगे उससे ही पूरा हो पायेगा।
हरियाणा में लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को मिली असाधारण सफलता और विपक्ष के बिखराव को देखते हुए हर कोई कांग्रेस की जीत पक्की मान रहा है इसलिए ज्यादातर नेता टिकट मिलने को ही विधानसभा की सीढी चढने की पहली मंजिल मान रहे हैं।इन परिस्थितियों को देखते हुए ये नेता कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं।
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने “राहुल कार्ड” खेला था और उसे उसमें आशातीत सफलता भी मिली थी। श्री गांधी ने देश भर में अकेले सौ से अधिक चुनावी सभाओं को संबोधित किया था।यह आंकडा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और प्रधानमंत्री मनमोहन द्वारा संबोधित की गयी चुनावी सभाओं से भी अधिक है । कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव में पार्टी को मिली सफलता के लिए राहुल को श्रेय भी दिया था।
राहुल के “युवा कार्ड” से इन युवा नेताओं का हौसला बहुत बुलंद है और वे राज्य के दिग्गज नेताओं को टिकट हासिल करने के मामले में चुनौती देने के लिए तैयार हैं। इन नेताओं को श्री गांधी से संपर्क साधने में कितनी कामयाबी मिल पायेगी यह तो समय ही बतायेगा लेकिन फिलहाल इतना तय है कि हरियाणा की फिजा में श्री गांधी के ई मेल को लेकर सरगर्मी चारों तरफ फैली हुई है।
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